राम मंदिर में अब तक इतनी धनराशि मिली?
भगवान रामलीला की प्राण-प्रतिष्ठा को अयोध्या में निर्माणाधीन राम मंदिर में कुछ दिन शेष हैं। रामभक्तों ने देश-विदेश से भगवान श्रीराम के सुंदर मंदिर के लिए अपनी भावनाओं को समर्पित कर दिया है। जब अयोध्या में राम मंदिर की नींव रखी गई, किसी को यकीन नहीं था कि रामभक्त इतना धन देंगे कि उसके ब्याज से ही मंदिर का पहला तल बनाया जाएगा। रामभक्तों में से अधिकांश ने अयोध्या के राम मंदिर में दान दिया है। राम मंदिर को अब तक लगभग पांच हजार करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि दी गई है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्क ने कहा कि मंदिर के समर्पण निधि वाले अकाउंट में अब तक 3200 करोड़ रुपये आ चुके हैं।
यह महत्वपूर्ण है कि राम मंदिर ट्रस्ट ने देश के 11 करोड़ लोगों से 900 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा था। हालाँकि, दिसंबर तक भगवान राम के मंदिर को लगभग पांच हजार करोड़ से अधिक की धनराशि मिल चुकी है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट का कहना है कि लगभग 18 करोड़ रामभक्तों ने अब तक भारतीय नेशनल बैंक, पंजाब नेशनल बैंक और बैंक ऑफ बड़ौदा के खाते में करीब 3,200 करोड़ रुपये की समर्पण निधि दी है, जो राम मंदिर को बनाने के लिए खर्च किया जाएगा। मंदिर को आज तक बनाने के लिए, ट्रस्ट ने इन बैंक खातों में दान दिए गए पैसे की एफडी कर दी थी।
राम मंदिर में अब तक इतनी धनराशि मिली?
किसने सबसे अधिक धनदान दिया?
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की वेबसाइट के अनुसार, अध्यात्मिक गुरु और कथावाचक मोरारी बापू ने अयोध्या में बन रहे भव्य राम मंदिर के लिए अब तक सबसे अधिक धनदान किया है। राम मंदिर को 11.3 करोड़ रुपये का दान मोरारी बापू ने किया है। इसके अलावा, अमेरिका, कनाडा और यूके में उनके अनुयायियों ने मिलकर 8 करोड़ रुपये दान दिए हैं। गुजरात के हीरा कारोबारी गोविंदभाई ढोलकिया ने भी राम मंदिर के निर्माण में 11 करोड़ रुपये का दान दिया है। श्रीरामकृष्णा एक्सपोर्ट्स की मालिक गोविंदभाई ढोलकिया है।
पहले चंदा किसने दिया?
14 जनवरी 2021 को, तब के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए धन संचय अभियान की शुरुआत की। रामनाथ कोविंद ने ही राम मंदिर का पहला चंदा दिया था। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को चेक के माध्यम से पांच लाख रुपये का चंदा दिया गया था।
विदेशी चंदा पहली बार किस देश से आया?
अमेरिका से पहला विदेशी चंदा अयोध्या के रामलला मंदिर में आया था। अमेरिका में रहने वाले एक रामभक्त (नाम नहीं बताया गया) ने पहले दान के रूप में मंदिर ट्रस्ट को ग्यारह हजार रुपये भेजे थे।
प्राण प्रतिष्ठा कब होगी?
22 जनवरी 2024 को भगवान रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा होगी। अब समारोह की तैयारी अंतिम पड़ाव पर है। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के लिए शुभ मुहूर्त का क्षण 84 सेकंड है, या 12 बजकर 29 मिनट 8 सेकंड से 12 बजकर 30 मिनट 32 सेकंड। प्रधानमंत्री मोदी भगवान रामलला की प्रतिष्ठा करेंगे। गर्भगृह में प्रधानमंत्री मोदी के अलावा चार अन्य लोग उपस्थित रहेंगे।